कहानी 64
सुलैमान ने बनाया यहोवा का मंदिर
दाऊद ने मरने से पहले, सुलैमान को यहोवा के मंदिर का नमूना दिया। यह नमूना, उसे यहोवा से मिला था। सुलैमान को राजा बने जब तीन साल हो गए, तब उसने मंदिर बनाने का काम शुरू किया। मंदिर बनाने में साढ़े सात साल लगे। इसमें लाखों लोगों ने काम किया और उसे बनाने में बहुत, बहुत पैसा लगा। क्योंकि उसमें सोने-चाँदी का बहुत इस्तेमाल किया गया था।
मंदिर में दो कमरे थे, वैसे ही जैसे यहोवा के तंबू में थे। लेकिन मंदिर के कमरे, तंबू के कमरों से दुगने बड़े थे। सुलैमान ने मंदिर के अंदरवाले कमरे में वाचा का संदूक रखवाया।
जब मंदिर बनकर तैयार हो गया, तो लोगों ने खुशियाँ मनायीं। सुलैमान ने मंदिर के सामने घुटने टेककर यहोवा से प्रार्थना की, जैसा कि आप तसवीर में देख सकते हैं। उसने यहोवा से कहा: ‘हे यहोवा, तू इतना महान है कि स्वर्ग भी तेरे लिए छोटा पड़ता है। फिर तू इस मंदिर में कैसे समा सकता है। पर हे मेरे परमेश्वर, जब भी कोई इस मंदिर की तरफ मुँह करके तुझसे प्रार्थना करे, तो तू उसकी बिनती ज़रूर सुनना।’
जैसे ही सुलैमान ने अपनी प्रार्थना खत्म की, आसमान से आग बरसी। और वे सारे जानवर भस्म हो गए, जिन्हें बलि चढ़ाने के लिए वेदी पर रखा गया था। उसके बाद यहोवा की तरफ से एक तेज़ रोशनी आयी, जिससे पूरे मंदिर में उजाला हो गया। इससे लोग जान गए कि यहोवा मंदिर बनने से खुश है और उसने सुलैमान की प्रार्थना सुन ली है। अब लोग तंबू के बजाय, मंदिर में आकर यहोवा की उपासना करने लगे।
सुलैमान कई सालों तक बुद्धिमानी से राज करता रहा और लोग भी खुश थे। लेकिन आगे चलकर उसने दूसरे देशों की स्त्रियों से शादी कर ली। वे स्त्रियाँ यहोवा को नहीं मानती थीं। क्या आप यहाँ उनमें से एक को मूर्ति की पूजा करते हुए देख सकते हैं? क्या आप उसके साथ सुलैमान को भी देख सकते हैं? धीरे-धीरे सुलैमान भी अपनी बीवियों की वजह से दूसरे देवी-देवताओं की पूजा करने लगा। मालूम है तब क्या हुआ? उसने लोगों का जीना मुश्किल कर दिया। अब वह अच्छा राजा नहीं रहा और लोग भी उससे खुश नहीं थे।
यह सब देखकर यहोवा को सुलैमान पर बड़ा गुस्सा आया। उसने सुलैमान से कहा: ‘मैं तुम्हारा राज्य तुमसे छीनकर दूसरे आदमी को दे दूँगा। लेकिन यह मैं तुम्हारे जीते-जी नहीं करूँगा। यह मैं तब करूँगा, जब तुम्हारा बेटा राजा बन जाएगा। पर मैं तुम्हारे बेटे के हाथ से सारा राज्य नहीं लूँगा।’ यह बात कैसे पूरी हुई? आइए अगली कहानी में देखें।