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3. अच्छे से पकाइए और बचे हुए खाने को सही तरह से रखिए

3. अच्छे से पकाइए और बचे हुए खाने को सही तरह से रखिए

3. अच्छे से पकाइए और बचे हुए खाने को सही तरह से रखिए

प्राचीन इसराएल देश में एक बावर्ची ने लापरवाही दिखायी। वह जंगली कद्दू तोड़ लाया, जबकि उसे “मालूम नहीं था कि वे क्या हैं।” फिर उसने उसी की सब्ज़ी बना दी। जब लोगों ने उसे खाया तो उन्हें लगा कि खाने में ज़हर है, इसलिए वे चिल्ला उठे: “हण्डे में मृत्यु है।”—2 राजा 4:38-41, अ न्यू हिंदी ट्रांस्लेशन।

इस उदाहरण से पता चलता है कि अगर खाना बनाने में लापरवाही बरती जाए, तो इससे सेहत को नुकसान पहुँच सकता है, यहाँ तक कि जान भी जा सकती है। इसलिए दूषित खाने से होनेवाली बीमारियों से बचने के लिए ध्यान से खाना बनाना सीखिए। और यह भी कि अगर खाना बच जाता है तो आप उसे सही तरह से कैसे रख सकते हैं। आगे दिए चार सुझावों पर गौर कीजिए:

फ्रीज़र में रखे माँस को सामान्य तापमान पर लाने के लिए उसे देर तक बाहर मत छोड़िए।

अमरीका के कृषि विभाग के मुताबिक, “जब माँस को फ्रीज़र से निकालकर बाहर रखा जाता है, तो भले ही उसके बीच का हिस्सा पूरी तरह जमा हुआ हो, लेकिन बाहरी हिस्सा ‘खतरे की रेखा’ के अंदर आ सकता है। उसका तापमान 4 से 60 डिग्री सेल्सियस के बीच हो सकता है और इस तापमान पर जीवाणु तेज़ी से बढ़ने लगते हैं।” इसलिए माँस को सामान्य तापमान पर लाने के लिए या तो उसे फ्रिज में रखिए, या माइक्रोवेव में डिफ्रॉस्ट कीजिए या सीलबंद पैकेट में डालकर ठंडे पानी में रखिए।

खाने को अच्छे से पकाइए।

विश्‍व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक, “खाने को अच्छी तरह पकाने से उसमें मौजूद लगभग सभी खतरनाक जीवाणु मर जाते हैं।” खाना बनाते वक्‍त, खास तौर से सूप, सालन या तरीवाली सब्ज़ी बनाते वक्‍त ध्यान रखिए कि वह कम-से-कम 70 डिग्री सेल्सियस के तापमान तक ज़रूर गरम हो जाए। * गोश्‍त अंदर तक पक गया है या नहीं, यह पता लगाना कभी-कभी मुश्‍किल होता है, इसलिए कई बावर्ची मीट थर्मामीटर का इस्तेमाल करते हैं। अगर आपके घर में मीट थर्मामीटर नहीं है, तो आप गोश्‍त में छुरी या काँटा घुसाकर या फिर उसे बीच में से काटकर देख सकते हैं।

खाना जल्दी परोसिए।

खाने को बनाकर बहुत ज़्यादा देर तक बाहर नहीं रखना चाहिए, इसलिए उसे जल्द परोसिए, हो सके तो खाना बनाने के तुरंत बाद ही ताकि वह खराब न हो जाए। ठंडी चीज़ों को ठंडा रखिए और गरम चीज़ों को गरम। गरम गोश्‍त को आप अवन में रख सकते हैं, जिसका तापमान करीब 93 डिग्री सेल्सियस हो या फिर उसे स्टोव पर धीमी आँच पर रख सकते हैं।

बचे हुए खाने को सही तरह से रखिए।

पोलैंड में रहनेवाली एक माँ अनीता ज़्यादातर खाना बनाने के तुरंत बाद ही उसे परोस देती है। लेकिन जब वह ज़्यादा खाना बनाती है तो वह कहती है, “मुझे अंदाज़ा होता है कि कितना खाना बच जाएगा। इसलिए उसे मैं तुरंत छोटे-छोटे हिस्सों में बाँटकर फ्रीज़र में रख देती हूँ, ताकि बाद में उसे डिफ्रॉस्ट करने में आसानी हो।” अगर आपने बचा हुआ खाना फ्रिज में रखा है, तो उसे तीन-चार दिन के अंदर खत्म कर लीजिए।

लेकिन जब आप होटल या रेस्तराँ में जाते हैं तो आपको किसी दूसरे के हाथ का बना खाना, खाना पड़ता है। तब आप अपने परिवार की सुरक्षा का ध्यान कैसे रख सकते हैं? (g12-E 06)

[फुटनोट]

^ कुछ गोश्‍त को, जैसे कि मुर्गी को ज़्यादा तापमान पर पकाना होता है।

[पेज 6 पर तसवीर]

अपने बच्चों को सिखाइए: “जब मेरे बच्चे खाना बनाते हैं, तो मैं उन्हें याद दिलाती हूँ कि वे पैकेट पर दी हिदायतों को पहले पढ़ें, फिर उसके मुताबिक ही खाना बनाएँ।” —युक लिंग, हाँग काँग