प्रहरीदुर्ग—अध्ययन संस्करण जनवरी 2008 अध्ययन के लिए प्रहरीदुर्ग पत्रिका का नया अंक ‘प्रभु में आपको जो सेवा सौंपी गयी है, उसका ध्यान रखो’ अपने ‘सिखाने की कला’ पर ध्यान दीजिए “सही मन” रखनेवाले सुसमाचार को कबूल कर रहे हैं उन्होंने अपनी ज़िंदगी खुशियों के रंग से भर दी है—क्या आप भी ऐसा करेंगे? राज्य पाने के योग्य ठहराए गए जीवन जल के पास ले जाए जाने के योग्य ठहराए गए मत्ती किताब की झलकियाँ मसीहियों को कब गेहूँ की तरह छाना जाता है प्रिंट करें दूसरों को भेजें दूसरों को भेजें प्रहरीदुर्ग—अध्ययन संस्करण जनवरी 2008 प्रहरीदुर्ग—अध्ययन संस्करण जनवरी 2008 हिंदी प्रहरीदुर्ग—अध्ययन संस्करण जनवरी 2008 https://assetsnffrgf-a.akamaihd.net/assets/ct/e781f8601f/images/cvr_placeholder.jpg