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परमेश्‍वर की पवित्र शक्‍ति इस ताकत की आपको ज़रूरत है

परमेश्‍वर की पवित्र शक्‍ति इस ताकत की आपको ज़रूरत है

परमेश्‍वर की पवित्र शक्‍ति इस ताकत की आपको ज़रूरत है

प्राचीन इसराएल के राजा दाविद ने परमेश्‍वर से गिड़गिड़ाकर बिनती की: ‘मुझे अपने सामने से निकाल न दे और अपनी पवित्र शक्‍ति मुझसे अलग न कर।’ * (भजन 51:11, NW) उसने यह बिनती, घोर पाप करने के बाद की।

दाविद ने लंबे अरसे से परमेश्‍वर की पवित्र शक्‍ति की ताकत को महसूस किया था। जब वह एक किशोर था तो इसी शक्‍ति की बदौलत उसने एक लंबे-चौड़े और ताकतवर सैनिक, गोलियत को मार गिराया था। (1 शमूएल 17:45-50) पवित्र शक्‍ति ने दाविद को सबसे खूबसूरत गीतों की रचना करने के लिए भी उभारा, जो आज बाइबल की किताब ‘भजन संहिता’ में पाए जाते हैं। दाविद ने खुद कबूल किया: ‘यहोवा की पवित्र शक्‍ति मेरे ज़रिए बोली और उसका वचन मेरी ज़ुबान पर था।’—2 शमूएल 23:2, NW.

यीशु मसीह ने इस बात को पुख्ता किया कि दाविद की ज़िंदगी में पवित्र शक्‍ति काम करती थी। एक मौके पर यीशु ने अपने सुननेवालों से कहा: “दाविद ने खुद पवित्र शक्‍ति से उभारे जाने पर यह कहा है, ‘यहोवा ने मेरे प्रभु से कहा: “मेरी दायीं तरफ बैठ जब तक कि मैं तेरे दुश्‍मनों को तेरे पैरों तले न कर दूँ।”’” (मरकुस 12:36; भजन 110:1) यीशु जानता था कि दाविद ने पवित्र शक्‍ति के मार्गदर्शन में ही भजन लिखे। मगर अब सवाल है, क्या पवित्र शक्‍ति हमारी भी मदद कर सकती है?

“माँगते रहो और तुम्हें दे दिया जाएगा”

आप शायद दाविद की तरह भजन न लिख पाएँ, मगर आपको गोलियत जैसी बड़ी-बड़ी बाधाओं का सामना करना पड़ सकता है। उदाहरण के लिए, इंद्राणी को ही लीजिए। * उसके पति ने एक दूसरी स्त्री के लिए उसे छोड़ दिया। यही नहीं, दो बेटियों की परवरिश के लिए आर्थिक मदद देने के बजाय, वह उस पर कर्ज़ का एक भारी बोझ लादकर चला गया। इंद्राणी कहती है: “उन्होंने मेरे साथ कितना बड़ा धोखा किया! मुझे अपनी ज़िंदगी से ऐसा निकाल फेंका मानो मैं कोई कूड़ा हूँ। इस मुश्‍किल दौर में परमेश्‍वर की पवित्र शक्‍ति ने मुझे सँभाले रखा।”

क्या इंद्राणी ने यह सोचा कि बिना कुछ किए ही उसे पवित्र शक्‍ति मिल जाएगी? जी नहीं, बल्कि वह दिन-रात परमेश्‍वर से उसकी शक्‍ति के लिए फरियाद करती रही। उसे मालूम था कि भविष्य का हिम्मत के साथ सामना करने, अपने बच्चों की अच्छी परवरिश करने और अपने खोए हुए आत्म-सम्मान को दोबारा पाने के लिए उसे परमेश्‍वर से मिलनेवाली ताकत की ज़रूरत है। उसने यीशु की यह सलाह मानी: “माँगते रहो और तुम्हें दे दिया जाएगा; ढूँढ़ते रहो और तुम पाओगे; खटखटाते रहो और तुम्हारे लिए खोला जाएगा।”—मत्ती 7:7.

एक और मिसाल रोहन की है। उसने भी महसूस किया कि उसे परमेश्‍वर की पवित्र शक्‍ति की ज़रूरत है। उसे तंबाकू और हशीश लेने की लत थी। वह दो साल तक इस लत को छोड़ने के लिए संघर्ष करता रहा, मगर बीच-बीच में नाकाम हो जाता। वह बताता है: “जब आप ड्रग्स लेना बंद कर देते हैं, तो आपको बड़ी बेचैनी महसूस होती है। आपका पूरा शरीर हर रोज़ ड्रग्स के लिए छटपटाता है।”

रोहन आगे कहता है: “लेकिन मैं परमेश्‍वर की सेवा करना चाहता था, इसलिए मैंने अपनी ज़िंदगी में बदलाव करने की ठान ली। मैं अपने मन को बाइबल में लिखी अच्छी-अच्छी बातों से भरने की कोशिश करता। मैं जानता था कि मैं अपने बल पर बाइबल के स्तरों के मुताबिक नहीं जी सकता। इसलिए मैं हर दिन दिल की गहराई से परमेश्‍वर से ताकत की बिनती करता था। और यहोवा ने मेरी प्रार्थनाओं का जवाब भी दिया, खासकर तब जब दोबारा ड्रग्स लेने की वजह से मेरी हिम्मत टूट जाती थी। मुझे पक्का यकीन है कि परमेश्‍वर की पवित्र शक्‍ति ने ही मुझमें नया जोश भरा। अगर यह शक्‍ति नहीं होती, तो मैं कभी अपनी लत नहीं छोड़ पाता।”—फिलिप्पियों 4:6-8.

‘उकाबों की नाईं उड़ना’

इंद्राणी और रोहन की तरह लाखों यहोवा के साक्षियों ने अपनी ज़िंदगी में पवित्र शक्‍ति को काम करते देखा है। सारी सृष्टि की रचना के पीछे इसी शक्‍ति का हाथ था। यहोवा की यह सक्रिय शक्‍ति आपको भी मिल सकती है। दरअसल, परमेश्‍वर अपनी यह शक्‍ति आपके साथ बाँटने के लिए न सिर्फ तैयार है बल्कि बेताब भी है, बशर्ते आप दिल से पवित्र शक्‍ति के लिए उससे गुज़ारिश करें। यही नहीं, आपको परमेश्‍वर के बारे में सच्चाई सीखनी होगी और सच्चे मन से उसकी मरज़ी पूरी करने की कोशिश करनी होगी।—यशायाह 55:6; इब्रानियों 11:6.

पवित्र शक्‍ति आपको परमेश्‍वर की सही तरीके से सेवा करने और ज़िंदगी में आनेवाली हर चुनौती का सामना करने की ताकत दे सकती है। बाइबल यकीन दिलाती है: “[यहोवा] थके हुए को बल देता है और शक्‍तिहीन को बहुत सामर्थ देता है। . . . जो यहोवा की बाट जोहते हैं, वे नया बल प्राप्त करते जाएंगे, वे उकाबों की नाईं उड़ेंगे, वे दौड़ेंगे और श्रमित न होंगे, चलेंगे और थकित न होंगे।”—यशायाह 40:28-31. (w09-E 10/01)

[फुटनोट]

^ बाइबल के मुताबिक, पवित्र शक्‍ति परमेश्‍वर की सक्रिय शक्‍ति है। परमेश्‍वर यह शक्‍ति अपनी मरज़ी पूरी करने के लिए इस्तेमाल करता है।

^ कुछ नाम बदल दिए गए हैं।

[पेज 14 पर बड़े अक्षरों में लेख की खास बात]

“मैं जानता था कि मैं अपने बल पर बाइबल के स्तरों के मुताबिक नहीं जी सकता। इसलिए मैं हर दिन दिल की गहराई से परमेश्‍वर से ताकत की बिनती करता था। और यहोवा ने मेरी प्रार्थनाओं का जवाब भी दिया”

[पेज 13 पर बक्स/तसवीरें]

पवित्र शक्‍ति के काम

परमेश्‍वर ने धरती और पूरे विश्‍व को बनाने के लिए अपनी पवित्र शक्‍ति का इस्तेमाल किया। भजनहार ने कहा: “हे यहोवा तेरे काम अनगिनित हैं! इन सब वस्तुओं को तू ने बुद्धि से बनाया है; पृथ्वी तेरी सम्पत्ति से परिपूर्ण है। . . . तू अपनी ओर से सांस [यानी पवित्र शक्‍ति] भेजता है, और वे सिरजे जाते हैं।”—भजन 104:24, 30; उत्पत्ति 1:2; अय्यूब 33:4.

पवित्र शक्‍ति ने परमेश्‍वर का भय माननेवाले पुरुषों को बाइबल लिखने के लिए प्रेरित किया। प्रेषित पौलुस ने लिखा: “पूरा शास्त्र परमेश्‍वर की प्रेरणा से लिखा गया है और . . . फायदेमंद है।” (2 तीमुथियुस 3:16) जिस यूनानी शब्द का अनुवाद “परमेश्‍वर की प्रेरणा से लिखा गया” किया गया है, उसका शाब्दिक अर्थ है “परमेश्‍वर ने साँस फूँकी।” यहोवा की साँस या पवित्र शक्‍ति ने बाइबल लेखकों के विचारों को सही दिशा दी, ताकि वे “परमेश्‍वर का वचन” लिखकर उसे लोगों तक पहुँचा सकें।—1 थिस्सलुनीकियों 2:13.

पवित्र शक्‍ति ने परमेश्‍वर के सेवकों को भविष्य के बारे में सही-सही बताने की ताकत दी। प्रेषित पतरस ने समझाया: “शास्त्र की कोई भी भविष्यवाणी किसी के अपने विचारों के मुताबिक नहीं की गयी। क्योंकि कोई भी भविष्यवाणी इंसान की मरज़ी से कभी नहीं हुई, बल्कि इंसान पवित्र शक्‍ति से उभारे जाकर परमेश्‍वर की तरफ से बोलते थे।”—2 पतरस 1:20, 21; योएल 2:28.

पवित्र शक्‍ति ने यीशु और परमेश्‍वर पर विश्‍वास करनेवालों की मदद की, ताकि वे परमेश्‍वर के राज की खुशखबरी सुना सकें और चमत्कार कर सकें। यीशु ने कहा: “यहोवा की पवित्र शक्‍ति मुझ पर है, क्योंकि उसने गरीबों को खुशखबरी सुनाने के लिए मेरा अभिषेक किया है। उसने कैदियों को रिहाई का और अंधों को आँखों की रौशनी पाने का संदेश सुनाने के लिए मुझे भेजा है।”—लूका 4:18; मत्ती 12:28.

[पेज 15 पर बक्स/तसवीरें]

पवित्र शक्‍ति किन तरीकों से हमारी मदद कर सकती है

पवित्र शक्‍ति आपको परीक्षाओं का सामना करने और बुरी आदतें छोड़ने की ताकत दे सकती है। प्रेषित पौलुस ने कहा: “परमेश्‍वर विश्‍वासयोग्य है और वह तुम्हें ऐसी किसी भी परीक्षा में नहीं पड़ने देगा जो तुम्हारी बरदाश्‍त के बाहर हो, मगर परीक्षा के साथ-साथ वह उससे निकलने का रास्ता भी निकालेगा ताकि तुम इसे सहन कर सको।”—1 कुरिंथियों 10:13.

पवित्र शक्‍ति आपको ऐसे गुण पैदा करने में मदद दे सकती है, जो परमेश्‍वर को भाते हैं। “परमेश्‍वर की पवित्र शक्‍ति का फल है, प्यार, खुशी, शांति, सहनशीलता, कृपा, भलाई, विश्‍वास, कोमलता, संयम।”—गलातियों 5:22, 23.

पवित्र शक्‍ति आपको परीक्षाओं में धीरज धरने की ताकत दे सकती है। “इसलिए कि जो मुझे ताकत देता है, उसी से मुझे सब बातों के लिए शक्‍ति मिलती है।”—फिलिप्पियों 4:13.