भजन 85:1-13
कोरह के वंशजों का सुरीला गीत।+ निर्देशक के लिए हिदायत।
85 हे यहोवा, तूने अपने देश पर कृपा की है,+तू याकूब की संतानों को बँधुआई से वापस ले आया।+
2 तूने अपने लोगों का गुनाह माफ किया है,उनके सारे पाप माफ कर दिए।*+ (सेला )
3 तूने अपना क्रोध प्रकट करने से खुद को रोक लिया,अपने गुस्से की जलजलाहट शांत कर दी।+
4 हे परमेश्वर, हमारे उद्धारकर्ता, हमें बहाल कर दे,*हमसे नाराज़ होना छोड़ दे।+
5 क्या तू हमेशा के लिए हम पर भड़का रहेगा?+
क्या तू पीढ़ी-पीढ़ी तक गुस्सा करता रहेगा?
6 क्या तू हममें दोबारा जान नहीं फूँकेगाताकि तेरे लोग तेरे कारण आनंद मनाएँ?+
7 हे यहोवा, हमें अपने अटल प्यार का सबूत दे,+हमारा उद्धार कर।
8 सच्चा परमेश्वर यहोवा जो कहता है, मैं सुनूँगा,क्योंकि वह अपने लोगों से, अपने वफादार जनों से शांति की बातें करेगा,+मगर ऐसा न हो कि वे पहले की तरह खुद पर हद-से-ज़्यादा भरोसा करें।+
9 परमेश्वर उन लोगों को बचाने के लिए तैयार रहता है जो उसका डर मानते हैं+ताकि हमारे देश पर उसकी महिमा छायी रहे।
10 अटल प्यार और वफादारी एक-दूसरे से मिलेंगे,नेकी और शांति एक-दूसरे को चूमेंगी।+
11 धरती से वफादारी के अंकुर फूटेंगेऔर आसमान से नेकी चमकेगी।+
12 बेशक, यहोवा हमें अच्छी चीज़ें* देगा,+हमारी ज़मीन अपनी उपज देगी।+
13 नेकी परमेश्वर के सामने चलेगी,+उसके कदमों के लिए रास्ता बनाएगी।