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13-19 अप्रैल

उत्पत्ति 31

13-19 अप्रैल
  • गीत 112 और प्रार्थना

  • सभा की एक झलक (1 मि.)

पाएँ बाइबल का खज़ाना

  • याकूब और लाबान ने शांति का करार किया”: (10 मि.)

    • उत 31:44-46​—याकूब और लाबान ने पत्थरों का एक ढेर लगाया और उनके बीच जो करार हुआ था, उसकी निशानी के तौर पर उन्होंने उस ढेर पर खाना खाया (इंसाइट-1 पेज 883 पै 1)

    • उत 31:47-50​—उन्होंने उस जगह का नाम गलएद और पहरा मीनार रखा (इंसाइट-2 पेज 1172)

    • उत 31:51-53​—उन्होंने आपस में शांति बनाए रखने का वादा किया

  • ढूँढ़ें अनमोल रत्न: (10 मि.)

    • उत 31:19​—राहेल ने क्यों कुल देवताओं की मूरतें चुरा ली थीं, जो उसके पिता की थीं? (इंसाइट-2 पेज 1087-1088)

    • उत 31:41, 42​—जिन मालिकों को “खुश करना मुश्‍किल है,” उनके साथ पेश आने में हम याकूब से क्या सीख सकते हैं? (1पत 2:18; प्र13 3/15 पेज 21 पै 8)

    • इस हफ्ते के अध्यायों से आपने यहोवा, प्रचार सेवा और दूसरे मामलों के बारे में क्या सीखा?

  • पढ़ने के लिए आयतें: (4 मि. या कम) उत 31:1-18 (जी-जान  गुण 10)

बढ़ाएँ प्रचार में हुनर

  • पहली मुलाकात का वीडियो: (4 मि.) चर्चा। वीडियो दिखाइए। फिर हाज़िर लोगों से पूछिए: बहन ने किस तरह आयत से मिलनेवाली सीख बतायी? उसने उस व्यक्‍ति से दोबारा मिलने के लिए क्या कहा?

  • पहली मुलाकात: (3 मि. या कम) “गवाही कैसे दें” में दिया सुझाव अपनाकर बात शुरू कीजिए। बातचीत में आनेवाली एक आम रुकावट पार कीजिए। (जी-जान  गुण 4)

  • पहली मुलाकात: (5 मि. या कम) “गवाही कैसे दें” में दिया सुझाव अपनाकर बात शुरू कीजिए। फिर खुशखबरी  ब्रोशर दीजिए और पाठ 5 से बाइबल अध्ययन शुरू कीजिए। (जी-जान  गुण 8)

जीएँ मसीहियों की तरह